Sunday, 1 January 2017

COMPUTER VIRUS IS AVAILABLE HERE QUIC HEAL AND NP

  • बूट सेक्टर वायरस (Boot Sector Virus) – इस प्रकार के वायरस फ्लापी तथा हार्डडिस्क के बूट सेक्टर में संगृहीत होते है| जब कम्प्यूटर को प्रारम्भ करते है.


  • तब यह आपरेटिंग सिस्टम को लोड होने में बाधा डालते है और यदि किसी तरह आपरेटिंग सिस्टम कार्य करने लगता है तब यह कम्प्यूटर के दुसरे संयंत्रो को बाधित करने लगते है|
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  • पार्टीशन टेबल वायरस (Partition Table Virus) – इस प्रकार के वायरस हार्ड डिस्क के विभाजन तालिका को नुकसान पहुचाते है| इनसे कम्प्यूटर के डाटा को कोई डर नही होता| यह हार्डडिस्क के मास्टर बूट रिकार्ड को प्रभावित करता है तथा निम्नलिखित परिणाम होते है|
  1. यह मास्टर बूट रिकार्ड के उच्च प्राथमिकता वाले स्थान पर अपने आप को क्रियान्वित करते है|
  2. यह रैम की क्षमता को कम कर देते है|
  3. यह डिस्क के इनपुट/आउटपुट नियंत्रक प्रोग्राम में त्रुटी उत्पन्न करते है|
  • फ़ाइल वायरस (File Virus) – यह वायरस कंप्यूटर की Files को नुकसान पहुचता है यह .exe फ़ाइल को नुक्सान पहुचता हैं इन्हें फाइल वायरस कहा जाता हैं|
  • गुप्त वायरस (Stealth Virus) – गुप्त वायरस अपने नाम के अनुसार कम्प्यूटर में User से अपनी पहचान छिपाने का हर संभव प्रयास करते है| इन्हें गुप्त वायरस कहा जाता हैं|
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  • पॉलिमार्फिक वायरस (Polymorphic Virus) – यह वायरस अपने आप को बार – बार बदलने की क्षमता रखता है ताकि प्रत्येक संक्रमण वास्तविक संक्रमण से बिल्कुल अलग दिखे | ऐसे वायरस को रोकना अत्यंत कठिन होता है क्योकि प्रत्येक बार ये बिल्कुल अलग होता है |
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  • मैक्रो वायरस (Macro Virus) – मैक्रो वायरस विशेष रूप से कुछ विशेष प्रकार के फ़ाइल जैसे डाक्यूमेंट, स्प्रेडशीट इत्यादि को क्षतिग्रस्त करने के लिए होते है | ये वायरस केवल Micro Software Office की फाइलों को नुकसान पहुचता हैं|

Saturday, 31 December 2016

26 जानयुआरि 2017 ना रोज SMC कक्षा ये दिकरी ने सलाम देश के नाम नि उजवणी बाबत लेटेस्ट परिपत्र

गणतन्त्र दिवस भारत का एक राष्ट्रीय पर्व जो प्रति वर्ष २६ जनवरी को मनाया जाता है। इसी दिन सन १९५० कोभारत का संविधान लागू किया गया था।
एक स्वतंत्र गणराज्य बनने और देश के संक्रमण को पूरा करने के लिए, 26 नवम्बर 1949 को भारतीय संविधान सभा द्वारा इस संविधान को अपनाया गया और 26 जनवरी 1950 को इसे एक लोकतांत्रिक सरकार प्रणाली के साथ लागू किया गया था। 26 जनवरी को इसलिए चुना गया था क्योंकि 1930 में इसी दिन भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने भारत को पूर्ण स्वराज घोषित किया था।
यह भारत के तीन राष्ट्रीय अवकाश में से एक है, अन्य दोस्‍वतंत्रता दिवस और गांधी जयंती है।
गणतंत्र दिवस समारोह २६ जनवरी को भारत के राष्ट्रपति द्वारा भारतीय राष्ट्र ध्वज को फहराया जाता हैं और इसके बाद सामूहिक रूप में खड़े होकर राष्ट्रगान गाया जाता है। गणतंत्र दिवस को पूरे देश में विशेष रूप से राजधानी दिल्ली में बहुत उत्साह के साथ मनाया जाता है। इस अवसर के महत्व को चिह्नित करने के लिए हर साल एक भव्य परेड इंडिया गेट से राष्ट्रपति भवन (राष्ट्रपति के निवास) तक राजपथ पर राजधानी, नई दिल्ली में आयोजित किया जाता है। इस भव्य परेड में भारतीय सेना के विभिन्न रेजिमेंट, वायुसेना, नौसेना आदि सभी भाग लेते हैं| इस समारोह में भाग लेने के लिए देश के सभी हिस्सों से राष्ट्रीय कडेट कोर व विभिन्न विद्यालयों से बच्चे आते हैं, समारोह में भाग लेना एक सम्मान की बात होती है |परेड प्रारंभ करते हुए प्रधानमंत्री अमर जवान ज्योति (सैनिकों के लिए एक स्मारक) जो राजपथ के एक छोर पर इंडिया गेट पर स्थित है पर पुष्प माला डालते हैं| इसके बाद शहीद सैनिकों की स्मृति में दो मिनट मौन रखा जाता है। यह देश की संप्रभुता की रक्षा के लिए लड़े युद्ध व स्वतंत्रता आंदोलन में देश के लिए बलिदान देने वाले शहीदों के बलिदान का एक स्मारक है। इसके बाद प्रधानमंत्री, अन्य व्यक्तियों के साथ राजपथ पर स्थित मंच तक आते हैं, राष्ट्रपति बाद में अवसर के मुख्य अतिथि के साथ आते हैं।
परेड में विभिन्न राज्यों से चलित शानदार प्रदर्शनी भी होती है, प्रदर्शनी में हर राज्य के लोगों की विशेषता, उनके लोक गीत व कला का दृश्यचित्र प्रस्तुत किया जाता है। हर प्रदर्शिनी भारत की विविधता व सांस्कृतिक समृद्धि प्रदर्शित करती है। परेड और जुलूस राष्ट्रीय टेलीविजन पर प्रसारित होता है और देश के हर कोने में करोड़ों दर्शकों के द्वारा देखा जाता है।
भारत के राष्ट्रपति व प्रधान मंत्री द्वारा दिया गये भाषण को सुनने के लाखों कि भीड़ लाल किले पर एकत्रित होती है।
२०१४ में, भारत के ६४वें गणतंत्र दिवस के अवसर पर, महाराष्ट्र सरकार के प्रोटोकॉल विभाग ने पहली बार मुंबई के मरीन ड्राईव पर परेड आयोजित की, जैसी हर वर्ष नई दिल्ली में राजपथ में होती है।

शिक्षण विभाग गुणोत्सव नि गाइड लाइन माँ कार्यो फेरफार सी अने डी ग्रेड धरावती शाला अने गुणोत्सव ना थएलि शाला माँ मूल्यांकन कराशे


गुजरात में उल्लेखनीय ध्यान केंद्रित करने और नामांकन के प्रयासों पर किया गया है, और प्राथमिक शिक्षा के लिए सफलता का एक किराया शेयर लाया है, जबकि सीखने के परिणामों और गुणवत्ता प्राथमिक शिक्षा के क्षेत्र में प्रदान के लिए चिंता का विषय सुधार सीखने के लिए विभिन्न कार्यक्रमों को बढ़ाने के द्वारा संबोधित किया गया है। यह गुणवत्ता के परिणामों को मजबूत बनाने के लिए गुजरात की सरकार ने एक कार्यक्रम Gunotsav, या 'मनाना गुणवत्ता' नामक शुरू की है। इसलिए Gunotsav प्राथमिक शिक्षा है जो बच्चों के सीखने के परिणामों के साथ-साथ सह शैक्षिक गतिविधियों, संसाधनों और समुदाय की भागीदारी का उपयोग भी शामिल की गुणवत्ता के लिए एक जवाबदेही ढांचे के रूप में परिभाषित किया गया है


इस कार्यक्रम के एक उद्देश्य के साथ नवंबर 2009 के दौरान राज्य के शिक्षा विभाग द्वारा शुरू किया गया था, उसके अनुसार प्राथमिक शिक्षा परिदृश्य और ग्रेड स्कूल के शिक्षकों का मूल्यांकन करने के लिए। राज्य सरकार ने एक जमीनी क्षेत्र के रूप में प्राथमिक शिक्षा देखा और क्रांतिकारी प्रयोगों के साथ शुरू की है। गुजरात के सरकार के कदम की एक श्रृंखला शुरू की राज्य भर में अपने स्कूलों में शिक्षा के स्तर में सुधार करने के लिए और इन प्रयासों को आगे बढ़ाने के लिए इतनी के रूप में दिखाई दे रहा है और औसत दर्जे का सकारात्मक परिवर्तन को प्राप्त करने की इच्छा हो गया है। 

गुणोत्सव-7 माटे नु मटीरियल क्या जिल्लाये क्यारे लेवा जवानु ते बाबत नो परिपत्र

प्राथमिक शिक्षा की नींव पर बनाया गया प्रत्येक नागरिक के विकास और एक पूरे के रूप में देश जिस पर है। हाल के दिनों में भारत की बेहतर शिक्षा प्रणाली अक्सर भारत के आर्थिक विकास में मुख्य योगदान में से एक के रूप में पेश किया जाता है। एक ही समय में, भारत में प्राथमिक शिक्षा की गुणवत्ता में भी एक प्रमुख चिंता का विषय है। प्राथमिक स्कूल के छात्र कम से कम जो अपने दैनिक गतिविधियों के प्रदर्शन में सहायक हो सकता है पढ़ने, लिखने और सरल गणित समीकरणों के बुनियादी ज्ञान है।


गुजरात में उल्लेखनीय ध्यान केंद्रित करने और नामांकन के प्रयासों पर किया गया है, और प्राथमिक शिक्षा के लिए सफलता का एक किराया शेयर लाया है, जबकि सीखने के परिणामों और गुणवत्ता प्राथमिक शिक्षा के क्षेत्र में प्रदान के लिए चिंता का विषय सुधार सीखने के लिए विभिन्न कार्यक्रमों को बढ़ाने के द्वारा संबोधित किया गया है। यह गुणवत्ता के परिणामों को मजबूत बनाने के लिए गुजरात की सरकार ने एक कार्यक्रम Gunotsav, या 'मनाना गुणवत्ता' नामक शुरू की है। इसलिए Gunotsav प्राथमिक शिक्षा है जो बच्चों के सीखने के परिणामों के साथ-साथ सह शैक्षिक गतिविधियों, संसाधनों और समुदाय की भागीदारी का उपयोग भी शामिल की गुणवत्ता के लिए एक जवाबदेही ढांचे के रूप में परिभाषित किया गया है



इस कार्यक्रम के एक उद्देश्य के साथ नवंबर 2009 के दौरान राज्य के शिक्षा विभाग द्वारा शुरू किया गया था, उसके अनुसार प्राथमिक शिक्षा परिदृश्य और ग्रेड स्कूल के शिक्षकों का मूल्यांकन करने के लिए। राज्य सरकार ने एक जमीनी क्षेत्र के रूप में प्राथमिक शिक्षा देखा और क्रांतिकारी प्रयोगों के साथ शुरू की है। गुजरात के सरकार के कदम की एक श्रृंखला शुरू की राज्य भर में अपने स्कूलों में शिक्षा के स्तर में सुधार करने के लिए और इन प्रयासों को आगे बढ़ाने के लिए इतनी के रूप में दिखाई दे रहा है और औसत दर्जे का सकारात्मक परिवर्तन को प्राप्त करने की इच्छा हो गया है। 

HTAT कौर्ट केस बाबत राज्यपाल कचेरी नो जवाब नो लेटर 22-12-2016

भारत में शिक्षक शिक्षा नीति को समय के हिसाब से निरूपित किया गया है और यह शिक्षा समितियों/आयोगों की विभिन्‍न रिपोर्टों में निहित सिफारिशों पर आधारित है, जिनमें से महत्‍वपूर्ण हैं : कोठारी आयोग (1966), चट्टोपाध्‍याय समिति (1985), राष्‍ट्रीय शिक्षा नीति (एन पी ई 1986/92), आचार्य राममूर्ति समिति (1990), यशपाल समिति (1993) एवं राष्‍ट्रीय पाठ्यचर्या ढॉंचा (एन सी एफ, 2005)। नि:शुल्‍क और अनिवार्य बाल शिक्षा अधिकार (आर टी ई) अधिनियम, 2009, जो 1 अप्रैल, 2010 से लागू हुआ, का देश में शिक्षक शिक्षा के लिए महत्‍वपूर्ण निहितार्थ है।

विधिक और सांस्‍थानिक ढांचा

देश की संघीय ढांचे में हालांकि शिक्षक शिक्षा पर विस्‍तृत नीतिगत और विधिक ढांचा केन्‍द्र सरकार द्वारा प्रदान किया जाता है, फिर भी विभिन्‍न कार्यक्रमों और स्‍कीमों का कार्यान्‍वयन प्रमुखत: राज्‍य सरकारों द्वारा किया जाता है। स्‍कूली बच्‍चों की शिक्षा उपलब्धियों के सुधार के विस्‍तृत उद्देश्‍य की दोहरी कार्यनीति है : (क) स्‍कूल प्रणाली के लिए अध्‍यापकों को तैयार करना (सेवा पूर्व प्रशिक्षण); और (ख) मौजूदा स्‍कूल अध्‍यापकों की क्षमता में सुधार करना (सेवाकालीन प्रशिक्षण)।

सेवा पूर्व प्रशिक्षण के लिए राष्‍ट्रीय शिक्षक शिक्षा परिषद (एन सी टी ई), जो केन्‍द्र सरकार का सांविधिक निकाय है, देश में शिक्षक शिक्षा के नियोजित और समन्वित विकास का जिम्‍मेदार है। एन सी टी ई विभिन्‍न शिक्षक शिक्षा पाठ्यक्रमों के मानक एवं मानदंड, शिक्षक शिक्षकों के लिए न्‍यूनतम योग्‍यताएं, विभिन्‍न पाठ्यक्रमों के लिए छात्र-अध्‍यापकों के प्रवेश के लिए पाठ्यक्रम एवं घटक तथा अवधि एवं न्‍यूनतम योग्‍यता निर्धारित करती है। यह ऐसे पाठ्यक्रम शुरू करने की इच्‍छुक संस्‍थाओं (सरकारी, सरकारी सहायता प्राप्‍त और स्‍व-वित्तपोषित) को मान्‍यता भी प्रदान करता है और उनके मानदंड और गुणवत्ता विनियमित करने और उन पर निगरानी के निमित्‍त व्‍यवस्‍था है।

लेटर देखने के लिए यहाँ क्लिक करे

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिया नए साल का तोहफा, लॉन्च की पांच नई योजनाएं

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए साल की पूर्व संध्या पर देश को संबोधित करते हुए कई वर्गों के लोगों के लिए कई स्कीमें जारी की हैं। पीएम मोदी ने महिलाओं, वरिष्ठ नागरिकों, गर्भवती महिलाओं और छोटे कारोबारियों के लिए कई स्कीमें लॉन्च की हैं। पीएम मोदी ने ये पांच स्कीमें लॉन्च की।


1.

प्रधानमंत्री आवाज योजना के तहत साल 2017 में निम्न मध्यम वर्ग और मध्यम वर्ग के लिए दो स्कीमें शुरू की गई हैं। इसके तहत नौ लाख रुपए के कर्ज पर बयाज में चार फीसदी की छूट मिलेगी। इसके साथ ही 12 लाख के लोन पर बयाज में तीन फीसदी की छुट मिलेगी। इसके साथ ही इस योजना के तहत गांव में बनने वाले घरों की संख्या बढ़ा दी गई है। जितने घर पहले बनने वाले थे, अब उससे 33 फीसदी से ज्यादा घर बनाए जाएंगे। गांव में रहने वाले जो लोग अपने घर का निर्माण करना चाहते हैं या फिर पुराने घर का विस्तार करना चाहते हैं, उन्हें दो लाख रुपए तक के लोन पर बयाज में तीन फीसदी की छूट मिलेगी।


अगले तीन महीने में तीन करोड़ किसानों के क्रेडिट कार्ड को रुपए कार्ड में बदला जाएगा। अभी किसानों को बैंक जाकर पैसे लेने होते थे, अब वे कहीं भी खरीद-फरोख्त कर सकते हैं।

3.

लघु और मध्यम वर्ग के उद्योगों के लिए भी सरकार ने नई स्कीम बनाई है। छोटे कारोबारियों के क्रेडिट गारंटी एक करोड़ रुपए से दो करोड़ रुपए करेगी। सरकार इसकी गारंटी लेगी। इसके तहत नोन बैंकिंग फाइनेंस कंपनियों से लिया गया लोन भी आएगा।


4.

देश के 650 से ज्यादा जिलों में गर्भवती महिलाओं को अस्पताल में पंजीकरण, डिलीवरी, टीकाकरण और पौष्टिक आहार के लिए छह हजार रुपए की आर्थिक मदद दी जाएगी। यह राशि उनके अकाउंट में सीधे ही जाएगी। अभी इस योजना के तहत चार हजार रुपए दिए जाएंगे। पायलेट प्रोजेक्ट के तहत यह स्कीम 53 जिलों में चलाई जाएगी।

5.

वरिष्ठ नागरिकों के लिए भी एक स्कीम शुरू की गई है। अब साढ़े सात लाख रुपए की राशि पर उनके लिए दस साल तक की अवधि के लिए सालाना आठ फीसदी बयाज दर सुरक्षित कर दी गई है। यह बयाज राशि वरिष्ठ नागरिक हर महीने अपने अकाउंट से निकाल सकते हैं।

पीएम मोदी ने किसान, बुजुर्ग और गरीबों को दिया नए साल का तोहफा, किए ये 10 बड़े ऐलान

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए साल की पूर्व संध्या पर देशवासियों को नए साल का गिफ्ट दे दिया। मोदी ने घर बनाने के लिए गरीब और मध्यमवर्गीय परिवार द्वारा लिए जाने वाले लोन पर ब्याज में बड़ी कटौती की। वहीं महिलाओं, किसानों, छोटे व्यापारियों के लिए कई योजनाओं का ऐलान किया। मोदी ने आज कौन-कौन से बड़े ऐलान किए जानने के लिए आगे देखें..
नए साल के मौके में अगर आप पार्टी करने का सोच रहे हैं तो यह आप के लिये है। पार्टी करने वालों के लिए बार ने स्पेशल आफर रखा है। सोशल ऑफलाइन नाम के बार ने अलग तरह का ऑफर शुरू किया है। इस ऑफर न्म वहां पर 31 रुपये में बीयर या एक शॉट दिया जाएगा। लेकिन शर्त कि ऑफर के लिए लोगों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भाषण सुनना होगा। 31 दिसंबर की शाम को साढ़े सात बजे से देश को संबोधित करेंगे। उनका यह संबोधन नोटबंदी के 50 दिन पूरे होने के बाद हो रहा है।
बार मैनेजर्स का कहना है कि कई ग्राहक मोदी की स्पीच की व्यवस्था के बारे में पूछने के बाद ही अपनी टेबल बुक करा रहे हैं। दिल्‍ली के द वॉल्ट कैफे के मैनेजर के हवाले से रिपोर्ट में लिखा गया है, ‘लोग यूट्यूब, टि्वटर और न्यूज पोर्टल से अपडेट के साथ ही भाषण को लाइव सुनने में ज्यादा कंफर्ट महसूस करेंगे। इसलिए हम लोग इसकी स्क्रिनिंग का ऑप्शन रख रहे हैं। ग्राहकों की डिमांड पर हम लोग मोदी की स्पीच की स्क्रिनिंग करेंगे।’ तो गीत गुन गुनाईए क्योंकि आज 'नशे से चढ़ेंगे' पीएम मोदी।

सोशल ऑफलाइन नाम के बार ने मुंबई, दिल्‍ली और बेंगलुरु में चलने वाले बार ने अपने फेसबुक पेज के ज़रिए ऑफर की जानकारी दी। इसमें लिखा है, ”भाइयों और बहनों, 31 रुपये में बीयर या एक शॉट लीजिए। आइए और 500 और 1000 रुपये के पुराने नोटों को बंद करने के बाद हमारे प्रधानमंत्री का फॉलोअप भाषण देखिए। शर्त है- ऑफर पर एक व्‍यक्ति तीन बार ही दावा कर सकता है। यह ऑफर शाम साढ़े सात से रात आठ बजे तक जारी रहेगा।” गौरतलब है कि इस बार कई बार व पब में भी मोदी का भाषण दिखाया जाएगा।